
देहरादून, 07 अक्टूबर 2025: त्योहारी सीजन को देखते हुए मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के निर्देश पर प्रदेशभर में मिलावटखोरों के खिलाफ खाद्य संरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग (एफडीए) का अभियान और अधिक तेज कर दिया गया है। विभागीय टीमों ने ऋषिकेश और भगवानपुर में छापेमारी कर नकली डेयरी उत्पादों की बड़ी खेप पकड़ी है।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने स्पष्ट कहा है कि राज्य सरकार उपभोक्ता की सेहत से किसी भी तरह का समझौता बर्दाश्त नहीं करेगी। उन्होंने कहा, “मिलावटखोरी के खिलाफ कोई रियायत नहीं दी जाएगी। हर उपभोक्ता की सुरक्षा और स्वास्थ्य सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है।” मुख्यमंत्री ने जनता से अपील की कि वे खाद्य उत्पाद खरीदते समय पैकेजिंग, लेबलिंग, और निर्माण तिथि की जांच अवश्य करें।
त्योहारी सीजन में सघन जांच अभियान जारी
खाद्य संरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग के आयुक्त डॉ. आर. राजेश कुमार ने बताया कि त्योहारी सीजन में मावा, पनीर, घी, दूध और मिठाइयों सहित सभी खाद्य पदार्थों की गहन जांच की जा रही है। सभी जिलों में सघन निरीक्षण और छापेमारी अभियान लगातार जारी है।
डॉ. कुमार ने कहा कि सीमावर्ती जिलों में विशेष सतर्कता बरती जा रही है ताकि बाहरी राज्यों से नकली उत्पादों की आपूर्ति रोकी जा सके। प्रयोगशालाओं को निर्देशित किया गया है कि जांच रिपोर्ट जल्द उपलब्ध कराई जाए ताकि दोषियों के खिलाफ तुरंत कानूनी कार्रवाई सुनिश्चित की जा सके।
भगवानपुर में नकली पनीर सप्लाई का भंडाफोड़
खाद्य सुरक्षा विभाग और पुलिस की संयुक्त टीम ने भगवानपुर के बालेकी युसुफपुर गांव में एक वाहन को रोककर जांच की। वाहन में बिना गुणवत्ता प्रमाणीकरण के नकली पनीर की बड़ी खेप सप्लाई की जा रही थी।
टीम ने पाया कि उत्पादों पर न तो एफएसएसएआई मार्क था, न ही निर्माण तिथि या लेबलिंग — जो उपभोक्ताओं के स्वास्थ्य के लिए गंभीर खतरा है।
वाहन और उत्पाद जब्त कर लिए गए हैं और सप्लायर के खिलाफ खाद्य सुरक्षा एवं मानक अधिनियम, 2006 के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है।
अपर आयुक्त ताजबर सिंह जग्गी ने बताया कि भगवानपुर और आसपास के क्षेत्रों में नकली डेयरी उत्पादों की आपूर्ति करने वाले गिरोहों पर विभाग की विशेष नजर है। उन्होंने कहा कि आने वाले दिनों में ऐसी गतिविधियों पर लगातार कार्रवाई की जाएगी।
ऋषिकेश में नकली घी और मिल्क पाउडर बरामद
इसी क्रम में ऋषिकेश में एफडीए टीम ने एक वाहन से 5 क्विंटल क्रीम, 35 किलोग्राम घी और 50 किलोग्राम स्किम्ड मिल्क पाउडर बरामद किया। जांच में पाया गया कि सभी उत्पादों के पास गुणवत्ता प्रमाणपत्र या मानक अनुमोदन दस्तावेज नहीं थे।
नमूने जांच के लिए भेजे गए हैं और प्रारंभिक जांच में यह संभावना जताई गई है कि ये उत्पाद अन्य राज्यों से अवैध रूप से लाए गए हैं। विभाग ने स्पष्ट किया कि ऐसे मामलों में एफआईआर दर्ज कर कठोर दंडात्मक कार्रवाई की जाएगी।
अपर आयुक्त ताजबर सिंह जग्गी कर रहे हैं अभियान का नेतृत्व
अपर आयुक्त (खाद्य सुरक्षा) ताजबर सिंह जग्गी स्वयं प्रदेशभर में छापेमारी अभियानों की निगरानी कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि देहरादून, हरिद्वार, उधमसिंह नगर, नैनीताल सहित चारधाम मार्गों और प्रमुख पर्यटन स्थलों पर विशेष निगरानी रखी जा रही है।
उन्होंने कहा कि सरकार की नीति साफ है — “मिलावटखोरी के खिलाफ जीरो टॉलरेंस।”
स्वास्थ्य मंत्री की सख्त चेतावनी
स्वास्थ्य मंत्री डॉ. धन सिंह रावत ने कहा कि सुरक्षित और शुद्ध भोजन समाज की सेहत और विकास की नींव है। सरकार इस दिशा में पूरी गंभीरता से काम कर रही है। उन्होंने कहा, “त्योहारी सीजन में किसी भी अधिकारी या व्यापारी की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उपभोक्ताओं की सुरक्षा सर्वोच्च प्राथमिकता है।”
जनजागरूकता अभियान भी जारी
एफडीए विभाग राज्यभर में उपभोक्ताओं को जागरूक करने के लिए “सुरक्षित भोजन – स्वस्थ जीवन” अभियान भी चला रहा है। स्कूलों, बाजारों और सामाजिक संस्थाओं में पोस्टर, सेमिनार और सोशल मीडिया अभियानों के माध्यम से लोगों को बताया जा रहा है कि नकली खाद्य पदार्थों की पहचान कैसे करें।
अपर आयुक्त ताजबर सिंह जग्गी ने कहा कि उपभोक्ता खाद्य उत्पाद खरीदते समय पैकेजिंग, लेबलिंग और निर्माण तिथि अवश्य जांचें। किसी भी संदिग्ध उत्पाद या विक्रेता की जानकारी विभागीय हेल्पलाइन या स्थानीय कार्यालय को तुरंत दें।
मुख्यमंत्री धामी का संदेश: “त्योहारों की खुशियों में किसी की सेहत से खिलवाड़ बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। हर उपभोक्ता की सुरक्षा हमारी जिम्मेदारी है, और मिलावटखोरों के खिलाफ कड़ी से कड़ी कार्रवाई की जाएगी।”