Kota Suicide Case: राजस्थान में कोटा शहर की ख्याति प्रतियोगी परीक्षाओं के लिए तो है ही, लेकिन इस शहर को अब सुसाइड सिटी के रूप में भी कुख्याति मिलने लगी है. अब कोटा सुसाइड मामले में सुप्रीम कोर्ट ने बच्चों के माता पिता को जिम्मेदार ठहराया है. एक याचिका पर सुनवाई के दौरान कोर्ट ने कहा कि कोटा में जिस पैमाने पर बच्चे सुसाइड कर रहे हैं, उसके लिए केवल उसके पैरेंट्स ही जिम्मेदार हैं. इसके साथ कोर्ट ने कोचिंग सेंटर्स पर लगाम लगाने से इनकार कर दिया. बता दें कि कोटा में इस साल अब तक 24 बच्चे आत्महत्या कर चुके हैं.
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि पैरेंट्स की चाहत की वजह से बच्चे मौत को गले लगा लेते हैं. माता पिता बच्चों से उसकी क्षमता से ज्यादा उम्मीद लगा लेते हैं. इसके कारण बच्चे दबाव में आ जाते हैं और खुदकुशी जैसे कदम उठा लेते हैं. शीर्ष अदालत मुंबई बेस्ड एक डॉक्टर अनिरुद्ध नारायण मालपानी की याचिका पर सुनवाई कर रही थी, जिन्होंने बच्चों की आत्महत्या के लिए कोचिंग सेंटर्स को जिम्मेदार ठहराया था. इस साल में ही यहां 24 छात्र-छात्राओं ने सुसाइड किया है.