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लखनऊ में ‘सुशासन दिवस’ पर भव्य आयोजन: पीएम मोदी करेंगे 120 करोड़ के ‘राष्ट्र प्रेरणा स्थल’ का लोकार्पण

अटल, दीनदयाल और मुखर्जी की विशाल प्रतिमाओं का होगा अनावरण

लखनऊ | 24 दिसंबर, 2025

उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ गुरुवार, 25 दिसंबर को एक ऐतिहासिक पल की गवाह बनने जा रही है। भारत रत्न और पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की जयंती (सुशासन दिवस) के अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी लखनऊ के बसंतकुंज क्षेत्र में नवनिर्मित ‘राष्ट्र प्रेरणा स्थल’ का उद्घाटन करेंगे। 65 एकड़ में फैला यह स्थल न केवल एक पार्क है, बल्कि भारतीय राजनीति के तीन स्तंभों—अटल बिहारी वाजपेयी, डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी और पंडित दीनदयाल उपाध्याय—की स्मृतियों को समर्पित एक आधुनिक संग्रहालय और सांस्कृतिक केंद्र भी है।

63 मीटर ऊंची प्रतिमाएं और कमल के आकार का निर्माण

120 करोड़ रुपये की लागत से तैयार यह प्रोजेक्ट लखनऊ विकास प्राधिकरण (LDA) की बसंतकुंज योजना का हिस्सा है। इसकी सबसे बड़ी विशेषता भाजपा के इन तीन दिग्गज नेताओं की विशाल प्रतिमाएं हैं:

  • विशाल ऊंचाई: अटल जी, दीनदयाल उपाध्याय और श्यामा प्रसाद मुखर्जी की 65-65 फीट (लगभग 20 मीटर) ऊंची प्रतिमाएं स्थापित की गई हैं। तकनीकी रूप से इस पूरे ढांचे और आधार की ऊंचाई करीब 63 मीटर तक जाती है।

  • कमल का आकार: पूरे राष्ट्र प्रेरणा स्थल को ऊपर से देखने पर यह ‘कमल’ के आकार का दिखाई देता है, जो कलात्मकता और विचारधारा का अद्भुत संगम है।


प्रधानमंत्री का मिनट-टू-मिनट कार्यक्रम

पीएम मोदी के दौरे को लेकर प्रशासन ने कड़े सुरक्षा इंतजाम किए हैं। उनके कार्यक्रम की मुख्य झलकियां इस प्रकार हैं:

  1. आगमन: पीएम मोदी हेलीकॉप्टर के जरिए सीधे राष्ट्र प्रेरणा स्थल पहुंचेंगे, जहां तीन हेलीपैड बनाए गए हैं।

  2. प्रतिमा अनावरण: सबसे पहले तीनों महापुरुषों की भव्य प्रतिमाओं का लोकार्पण होगा।

  3. म्यूजियम का दौरा: प्रधानमंत्री नवनिर्मित अत्याधुनिक म्यूजियम जाएंगे, जहां वह तीनों नेताओं की जीवनगाथा पर आधारित डॉक्यूमेंट्री देखेंगे। इस म्यूजियम में नेताओं को भाषण देते हुए स्टेच्यू के रूप में दर्शाया गया है।

  4. भारत माता की प्रतिमा: परिसर में भारत माता की एक भव्य कांसे की प्रतिमा लगाई गई है, जिसका अवलोकन प्रधानमंत्री करेंगे।

  5. जनसभा: कार्यक्रम के अंत में मुख्य मंच से पीएम मोदी एक विशाल जनसभा को संबोधित करेंगे। इस परिसर में एक साथ एक लाख से ज्यादा लोगों के बैठने की क्षमता है।

डिजिटल गैलरी और ओजस्वी गूंज

म्यूजियम को पांच विशेष गैलरी में बांटा गया है, जो आगंतुकों को जनसंघ से लेकर भाजपा की स्थापना तक के सफर से रूबरू कराएंगी।

  • 120 फीट की एलईडी स्क्रीन: म्यूजियम में एक विशाल एलईडी स्क्रीन लगाई गई है, जिस पर अटल जी की कविताएं और उनके ओजस्वी भाषणों की गूंज सुनाई देगी।

  • सांस्कृतिक झलक: यहां देश के प्रसिद्ध मंदिरों के मॉडल, गंगा आरती के दृश्य, अशोक चक्र और राष्ट्रीय प्रतीकों के साथ-साथ उत्तर प्रदेश के शहीदों और महापुरुषों के नाम भी अंकित किए गए हैं।


फूलों से महक उठा राष्ट्र प्रेरणा स्थल

इस भव्य आयोजन के लिए पूरे परिसर को हजारों टन फूलों से सजाया गया है। आंध्र प्रदेश, दिल्ली, नैनीताल और पुणे से एक लाख से ज्यादा सजावटी पौधे मंगवाए गए हैं। गुलाब, जाफरी, गुलदाउदी, और मैक्सिकन कारपेट ग्रास जैसे पौधों से वर्टिकल गार्डन और कमल के आकार के फव्वारे तैयार किए गए हैं।

सुरक्षा और सार्वजनिक व्यवस्था

  • त्रिस्तरीय सुरक्षा: एसपीजी (SPG) और स्थानीय पुलिस ने पूरे इलाके को एक अभेद्य किले में तब्दील कर दिया है।

  • अवकाश: सुरक्षा कारणों से प्रेरणा स्थल के आसपास के लगभग सवा सौ स्कूलों में छुट्टी घोषित कर दी गई है।

  • लाइव प्रसारण: लखनऊ के सभी प्रमुख चौराहों पर बड़ी एलईडी स्क्रीन लगाई गई हैं ताकि शहरवासी प्रधानमंत्री के भाषण का सीधा प्रसारण देख सकें।

निष्कर्ष

‘राष्ट्र प्रेरणा स्थल’ केवल एक पर्यटन स्थल नहीं, बल्कि आने वाली पीढ़ियों के लिए एक प्रेरणा केंद्र के रूप में विकसित किया गया है। सुशासन दिवस पर पीएम मोदी का यह दौरा लखनऊ के विकास और सांस्कृतिक विरासत को नई पहचान देने वाला साबित होगा।

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