चिटहरा भूमि घोटाले में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देश के बाद 9 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया है. इस मामले में मुख्य आरोपी यशपाल तोमर पर भी कई धाराओं के तहत ( 467, 468, 476 , ४२० )मुकदमा दर्ज हुआ है. 2 आईएएस ओर 1 आईपीएस अधिकारी के परिजनों के नाम भी सामने आए हैं. ये सभी अधिकारी हरिद्वार जिले में डीएम और एसएसपी के पद पर तैनात रह चुके हैं.
आपको बता दें उत्तर प्रदेश के गौतम बुद्ध नगर जिले में सैकड़ों एकड़ जमीन घोटाले के मामले में जिले की पुलिस ने 9 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर लिया है. यूपी-उत्तराखंड का गैंगस्टर और चिटहरा भूमि घोटाले के मुख्य आरोपी यशपाल तोमर के कारनामों की जैसे-जैसे परतें खुलती जा रही हैं, वैसे ही चौंकाने वाले खुलासे सामने आ रहे हैं. इसमें उसके साथ उत्तराखंड के बड़े आईएएस और आईपीएस अधिकारियों का भी गठजोड़ सामने आ रहा है. यशपाल तोमर ने उत्तराखंड के बड़े आईएएस और आईपीएस अधिकारियों के परिजनों के नाम पर भी करोड़ों रुपए की संपत्ति खरीदी है.
वही इस खुलासे के बाद उत्तराखंड की ब्यूरोक्रेसी में भी खलबली मची हुई है. आपको बता दें की कि ये तीनों अधिकारी हरिद्वार में डीएम और एसएसपी के पद पर तैनात रहे हैं. इसी दौरान उन्होंने उस दौरान यशपाल तोमर की खूब मदद की और उसी के बल पर यशपाल तोमर ने उत्तराखंड में करोड़ों रुपए के ज्यादा की अवैध संपत्ति खड़ी कर दी. सब से बड़ी बात ये है कि इन तीनों अधिकारियों ने संपत्ति में अपना हिस्सा सीधे तोर पे नहीं लिया है, बल्कि अवैध संपत्ति का बड़ा हिस्सा अपने परिजनों के नाम करवाया है. ताकि किसी को शक न हो सके, लेकिन सच तो एक न एक दिन बाहर आ ही जाता है ओर अब सारा राज बाहर आ गया है.
उत्तराखंड एसटीएफ और हरिद्वार पुलिस ने पिछले दिनों यशपाल को दिल्ली से गिरफ्तार किया था ओर गिरप्तारी के साथ ही यशपाल तोमर का रसूख हवा हो गया और अब उसके द्वारा कब्जाई गई जमीनों की भी कुर्की शुरू हो गई है. हरिद्वार जिला कोर्ट के आदेश पर उत्तराखंड एसटीएफ ने यशपाल तोमर की 153 करोड़ रुपए की प्रॉपर्टी जब्त की थी .
अब ये देखना होगा कि क्या मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी इस प्रकरण की सीबीआई जांच की सिफारिस कब करते हैं।