कर्नाटक: कन्नड़ में साइनबोर्ड नहीं लिखने के विरोध में प्रदर्शन कर रहे कर्नाटक रक्षणा वेदिके के कार्यकर्ताओं की गिरफ्तारी के बाद कन्नड़ समर्थक संगठन राज्य सरकार के खिलाफ भड़क उठे हैं. इसके तुरंत बाद कर्नाटक के सीएम सिद्धारमैया ने अचानक वरिष्ठ अधिकारियों के साथ बैठक की. इसके बाद पत्रकारों से बातचीत में उन्होंने कहा कि साइनबोर्ड का 60 फीसदी हिस्सा कन्नड़ में होना चाहिए. उन्होंने कन्नड़ में बोर्ड लिखे जाने की समय सीमा तय कर दी.
#WATCH | Bengaluru: Kannada Raksha Vedhike holds a protest demanding all businesses and enterprises in Karnataka to put nameplates in Kannada. pic.twitter.com/ZMX5s9iJd0
— ANI (@ANI) December 27, 2023
उन्होंने कहा कि 28 फरवरी 2024 तक दुकानों का बोर्ड बदल दिया जाना चाहिए. विज्ञापनों में भी सरकारी नियमों का पालन होना चाहिए. उन्होंने स्पष्ट किया कि इसे नहीं मानने वालों के खिलाफ कार्रवाई की जाएगी. बता दें कि साल 2018 में इसे लेकर एक सर्कुलर जारी किया गया था कि साइनबोर्ड का 50 फीसदी कन्नड़ में होनी चाहिए. शेष आधा भाग किसी अन्य भाषा में होना चाहिए. अब यह नियम बनाए गये हैं कि साइनबोर्ड का 60 फीसदी हिस्सा कन्नड़ में होना चाहिए. पिछले सर्कुलर में यह 50% था. आज की बैठक में इसमें संशोधन करने का निर्णय लिया गया.