
पणजी: गोवा में ज़मीन हड़पने का एक बड़ा घोटाला उजागर हुआ है। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने बुधवार को गोवा और हैदराबाद में 13 ठिकानों पर छापेमारी की। यह कार्रवाई अंजुना और असगांव इलाके की सोसाइटी जमीनों पर हुए अवैध कब्ज़े से जुड़ी है।
जांच में सामने आया है कि यशवंत सावंत और उनके साथियों ने पुराने फर्जी दस्तावेज़ों का इस्तेमाल कर करीब 3.5 लाख वर्ग मीटर जमीन अपने नाम करवाई। इनमें से कई जमीनें आगे बेच दी गईं और आरोपियों ने करोड़ों रुपये का मुनाफा कमाया। इन संपत्तियों की अनुमानित कीमत 1200 करोड़ रुपये से ज्यादा बताई जा रही है।
छापों में लग्ज़री कारें और कैश बरामद
ईडी की कार्रवाई में जांचकर्ताओं को 72 लाख रुपये कैश, 7 लग्ज़री गाड़ियां (Porsche, BMW, Range Rover, Mercedes) और कई बैंक खाते व एफडी मिले हैं। सभी संपत्तियों को फिलहाल सीज़ कर दिया गया है। ईडी का कहना है कि जांच अभी शुरुआती चरण में है और इससे गोवा में फैले एक बड़े लैंड ग्रैबिंग नेटवर्क का पर्दाफाश हो सकता है।
पंचायत सदस्य और व्यवसायी पर गिरी गाज
सूत्रों के अनुसार, ईडी की टीमों ने अंजुना इलाके के एक पंचायत सदस्य के घर और अंजुना स्थित भूमिका मंदिर के पास एक व्यवसायी के आवास व कार्यालय पर छापा मारा। दोनों से जुड़े दो अन्य सहयोगियों के घरों की भी तलाशी ली गई।
यह कार्रवाई गोवा पुलिस के विशेष जांच दल (SIT) से मिली जानकारी के आधार पर हुई। SIT ने पहले ही पंचायत सदस्य और व्यवसायी के खिलाफ धोखाधड़ी वाले ज़मीन सौदों में उनकी भूमिका को लेकर केस दर्ज किया था।
गोवा में हाई-प्रोफाइल लैंड ग्रैबिंग की जांच
SIT इस समय गोवा में जमीन हड़पने के कई हाई-प्रोफाइल मामलों की जांच कर रही है। इनमें से ज्यादातर मामलों में जाली दस्तावेज़ों का इस्तेमाल कर सामुदायिक संपत्तियों की अवैध बिक्री की गई है। खासकर अंजुना और असगांव का तटीय क्षेत्र, जहां रियल एस्टेट की कीमतें लगातार बढ़ रही हैं और निवेशकों की भारी मांग है, जमीन घोटालों के लिए सबसे ज्यादा संवेदनशील माना जा रहा है।