हिंडनबर्ग-अडानी ग्रुप के मामले में बाजार नियामक सेबी की ओर से चुप्पी तोड़ी गई है।
सेबी (SEBI) ने इस मामले में अपना बयान जारी किया है। सेबी (SEBI) ने कहा है कि वह शेयर बाजार की अखंडता और सभी आवश्यक निगरानी सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध है। किसी शेयर में अत्याधिक उतार-चढ़ाव को रोकने के लिए सभी जरूरी कदम उठाए जा रहे हैं। हालांकि बाजार नियामक की ओर से जारी किए बयान में अडानी ग्रुप का नाम नहीं लिया गया था। सेबी (SEBI) का यह बयान भारतीय रिजर्व बैंक (RBI ) के उस बयान के बाद आया है जिसमें उधारदाताओं की चिंताओं को दूर करते हुए कहा गया है कि देश की बैंकिंग प्रणाली लचीली और स्थिर बनी हुई है।
आपको बता दे कि अमेरिकी रिसर्च फर्म Hindenburg Research की रिपोर्ट आने के बाद Adani Group को जबरदस्त नुकसान हुआ । अडानी ग्रुप ने अपनी फ्लैगशिप कंपनी Adani Enterprises का FPO वापस लेने के बाद बॉन्ड प्लान भी कैंसल कर दिया है। कंपनी ने इसके जरिए 10 अरब रुपये जुटाने की योजना बनाई थी। कंपनी पहली बार बॉन्ड्स की पब्लिक सेल करने जा रही थी। ब्लूमबर्ग की एक रिपोर्ट के मुताबिक कंपनी ने इस प्लान को ठंडे बस्ते में डाल दिया है। Hindenburg Research की रिपोर्ट आने के बाद अडानी ग्रुप के शेयरों में 70 फीसदी तक गिरावट आई है और उसका मार्केट कैप 100 अरब डॉलर से ज्यादा घट गया