
नई दिल्ली: दिल्ली को जल्द ही नया सचिवालय मिलने वाला है। मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने इसकी घोषणा करते हुए बताया कि एक ऐसा आधुनिक सचिवालय तैयार किया जाएगा, जहां सभी विभाग एक ही स्थान पर कार्य कर सकें और कार्यस्थल का वातावरण भी सुविधाजनक और प्रेरक हो।
पुराने सचिवालय पर उठते रहे हैं सवाल
वर्तमान में दिल्ली सचिवालय ITO स्थित इंदिरा गांधी इंडोर स्टेडियम के पास मौजूद “प्लेयर बिल्डिंग” में संचालित हो रहा है। कभी होटल के रूप में तैयार की गई यह इमारत 1982 के एशियन गेम्स के लिए बनी थी, लेकिन समय पर निर्माण कार्य पूरा न हो पाने के कारण इसे होटल के बजाय सरकार के उपयोग में लाया गया।
यह भवन यमुना नदी के रिवर बेड पर स्थित है, जिसके चलते इसकी भूकंपरोधी क्षमता को लेकर समय-समय पर सवाल उठते रहे हैं। साथ ही, आग से बचाव के लिए आवश्यक No Objection Certificate (NOC) की अनुपलब्धता के कारण भी यह इमारत विवादों में रही।
विभाग आज भी बिखरे हुए
दिल्ली सरकार ने सिविल लाइंस से शिफ्ट होकर प्लेयर बिल्डिंग में काम शुरू किया, लेकिन सचिवालय की सीमित क्षमता के कारण सिर्फ मुख्यमंत्री, मंत्रिमंडल और लगभग 19 विभाग ही वहां शिफ्ट हो पाए। जल बोर्ड, स्वास्थ्य और लोक निर्माण विभाग जैसे कई अहम विभाग आज भी अलग-अलग स्थानों से काम कर रहे हैं, जिससे समन्वय और कार्यकुशलता पर असर पड़ता है।
पहले भी बनी थी योजना, फिर ठंडी पड़ी
ITO में दिल्ली सचिवालय के दो नए टावर बनाने की योजना 2022 में भी बनाई गई थी। करीब 1900 करोड़ रुपये का बजट पास होने के बावजूद निर्माण कार्य की रफ्तार इतनी धीमी रही कि यह योजना ठंडे बस्ते में चली गई। अब एक बार फिर नई सरकार ने इस दिशा में गंभीरता दिखाई है और सचिवालय के लिए नए स्थान की तलाश शुरू कर दी है।