
दिल्ली विश्वविद्यालय ने उस प्रस्ताव को रिजेक्ट कर दिया है, जिसमें मनुस्मृति को पढ़ाए जाने की बात कही गई थी. बावजूद इसके कांग्रेस का इस प्रस्ताव के खिलाफ विरोध प्रदर्शन जारी रहेगा. कांग्रेस एससी एसटी विभाग के राष्ट्रीय अध्यक्ष राजेश लिलोठिया का कहना है कि विरोध प्रदर्शन जारी रहेगा. राजेश लिलोठिया का कहना है कि लॉ फैकल्टी दिल्ली विश्वविद्यालय के अधीन है. ऐसा प्रस्ताव लाने वालों के नाम सामने लाए जाएं. ऐसे लोग संविधान विरोधी हैं. उनके खिलाफ मुकदमा दर्ज हो वरना आंदोलन जारी रहेगा. ऐसा प्रस्ताव क्यों आया, इसकी पड़ताल हो.
लिलोठिया ने कहा कि हमने पूरे देश में अपने हर प्रदेश अध्यक्ष को ये कार्यक्रम दिया है कि मनुवाद की सोच रखने वालों का पुतला जलाया जाए और विरोध किया जाए. जहां-जहां स्टेट यूनिवर्सिटी हैं, वहां हमारी टीमें जाएंगी और प्रदर्शन करेगी. ये टीमें मांग करेगी कि जिन्होंने ये प्रस्ताव रखा, उनके खिलाफ कानूनी कार्रवाई हो. कांग्रेस एससी एसटी विभाग के राष्ट्रीय अध्यक्ष ने कहा है, समाजिक संगठनों के विरोध के बाद दिल्ली विश्वविद्यालय ने आदेश वापस लिया है. ये लोग बाबा साहब भीमराव अंबेडकर के संविधान को बार-बार छेड़ने का काम करते हैं. अगर ऐसा करेंगे तो हर संविधान रक्षक इसका विरोध करेगा. हमारा प्रदर्शन जारी रहेगा. दिल्ली विश्वविद्यालय ने प्रस्ताव वापस लिया है लेकिन हम इस पर विश्वास नहीं करते.