
देहरादून। उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा है कि खेल केवल मनोरंजन का साधन नहीं, बल्कि अनुशासन, स्वस्थ शरीर और तनावमुक्त जीवन की मजबूत बुनियाद हैं। शासकीय कार्यों की व्यस्तता के बीच कर्मचारियों और अधिकारियों द्वारा खेल गतिविधियों को अपनाना न केवल शारीरिक स्वास्थ्य के लिए आवश्यक है, बल्कि यह मानसिक संतुलन बनाए रखने में भी अहम भूमिका निभाता है।
मुख्यमंत्री ने यह विचार शनिवार को परेड ग्राउंड, देहरादून स्थित बहुउद्देशीय क्रीड़ा हॉल में आयोजित 10वीं अन्तर्विभागीय बैडमिंटन प्रतियोगिता–2025 के शुभारम्भ अवसर पर व्यक्त किए। इस प्रतियोगिता का आयोजन उत्तराखंड सचिवालय बैडमिंटन क्लब द्वारा किया गया है, जिसमें राज्य के 42 विभागों के कर्मचारी और अधिकारी भाग ले रहे हैं।
“निरोगी रहना सबसे बड़ी पूंजी”
मुख्यमंत्री धामी ने अपने संबोधन में कहा कि निरोगी रहना मनुष्य की सबसे बड़ी पूंजी है और खेल इसे प्राप्त करने का सबसे प्रभावी माध्यम हैं। उन्होंने कहा कि नियमित खेल गतिविधियां व्यक्ति के जीवन में अनुशासन लाने के साथ-साथ तनाव और कार्यदबाव को दूर करती हैं।
उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि अन्तर्विभागीय बैडमिंटन प्रतियोगिता आने वाले वर्षों में भी निरंतर आयोजित होती रहेगी और इससे कर्मचारियों व अधिकारियों के बीच टीम भावना, सकारात्मक ऊर्जा और आपसी समन्वय को बढ़ावा मिलेगा।
मुख्यमंत्री ने स्वयं खेलकर बढ़ाया खिलाड़ियों का उत्साह
कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री ने स्वयं बैडमिंटन खेलकर खिलाड़ियों का उत्साहवर्धन किया। मुख्यमंत्री को खेलते देख प्रतिभागी खिलाड़ियों और दर्शकों में खासा उत्साह देखने को मिला। इससे यह संदेश भी गया कि सरकार केवल नीतिगत स्तर पर ही नहीं, बल्कि व्यवहारिक रूप से भी खेल संस्कृति को बढ़ावा देने के लिए प्रतिबद्ध है।
राष्ट्रीय खेलों से बदली उत्तराखंड की खेल तस्वीर
मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में उत्तराखंड हर क्षेत्र में देश के सामने एक आदर्श राज्य के रूप में उभर रहा है। उन्होंने उल्लेख किया कि हाल ही में उत्तराखंड में राष्ट्रीय खेलों का सफल आयोजन किया गया, जो राज्य के लिए ऐतिहासिक उपलब्धि रही।
राष्ट्रीय खेलों के आयोजन से न केवल राज्य की खेल क्षमताओं का प्रदर्शन हुआ, बल्कि इससे खेल अवसंरचना और सुविधाओं का व्यापक विस्तार भी संभव हो सका। आधुनिक स्टेडियम, इंडोर हॉल, प्रशिक्षण केंद्र और खिलाड़ियों के लिए बेहतर संसाधन आज उत्तराखंड की नई पहचान बनते जा रहे हैं।
देवभूमि को ‘खेल भूमि’ बनाने का संकल्प
मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार का लक्ष्य उत्तराखंड को केवल देवभूमि ही नहीं, बल्कि ‘खेल भूमि’ के रूप में भी स्थापित करना है। इसके लिए गांव से लेकर राज्य स्तर तक खेल प्रतिभाओं की पहचान, प्रशिक्षण और प्रोत्साहन पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है।
उन्होंने कहा कि युवाओं को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर पर आगे बढ़ने के लिए हर संभव अवसर और मंच उपलब्ध कराया जा रहा है, ताकि उत्तराखंड के खिलाड़ी देश और दुनिया में राज्य का नाम रोशन कर सकें।
अंतरराष्ट्रीय स्तर की सुविधाओं से उभरती खेल महाशक्ति
उत्तराखंड सचिवालय बैडमिंटन क्लब के अध्यक्ष हीरा सिंह बसेड़ा ने मुख्यमंत्री का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि उनके नेतृत्व में राज्य में अंतरराष्ट्रीय स्तर की खेल सुविधाओं का तेजी से विकास हो रहा है।
उन्होंने कहा कि खिलाड़ियों को बेहतर संसाधन, आधुनिक प्रशिक्षण और निरंतर प्रोत्साहन मिल रहा है, जिसके चलते उत्तराखंड आज एक उभरती हुई खेल महाशक्ति के रूप में पहचान बना रहा है।
बड़ी संख्या में गणमान्य लोग रहे मौजूद
इस अवसर पर विधायक खजान दास, प्रमुख सचिव आर. के. सुधांशु, बैडमिंटन क्लब के अध्यक्ष हीरा सिंह बसेड़ा, प्रमोद कुमार, भूपेंद्र बसेड़ा, जे.पी. मैखुरी सहित अनेक गणमान्य व्यक्ति, वरिष्ठ अधिकारी और खिलाड़ी उपस्थित रहे।
खेल संस्कृति को मजबूत करने की दिशा में अहम पहल
10वीं अन्तर्विभागीय बैडमिंटन प्रतियोगिता को राज्य में कार्यस्थल आधारित खेल संस्कृति को मजबूत करने की दिशा में एक अहम पहल माना जा रहा है। इससे न केवल कर्मचारियों का स्वास्थ्य बेहतर होगा, बल्कि शासकीय कार्यों में भी ऊर्जा, कार्यकुशलता और सकारात्मक दृष्टिकोण देखने को मिलेगा।
निष्कर्ष
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का यह संदेश साफ है कि खेल केवल प्रतियोगिता नहीं, बल्कि जीवनशैली का हिस्सा होने चाहिए। उत्तराखंड सरकार द्वारा खेलों को प्रोत्साहन, अंतरराष्ट्रीय स्तर की सुविधाओं का विकास और युवाओं को अवसर उपलब्ध कराने के प्रयास राज्य को आने वाले समय में देश के अग्रणी खेल राज्यों की कतार में खड़ा कर सकते हैं।



